रेलवे ऐसे कर रहा प्रतिवर्ष 5 करोड राजस्व की बचत और अब... उदयपुर-कामाख्या एक्सप्रेस होगी पूर्ववत संचालित



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रेलवे ऐसे कर रहा प्रतिवर्ष 5 करोड राजस्व की बचत 
और अब... 
उदयपुर-कामाख्या एक्सप्रेस होगी पूर्ववत संचालित 

*पर्यावरण और ऊर्जा संरक्षण के लिये उत्तर पश्चिम रेलवे की प्रतिबद्वता*
*7.127 MWp क्षमता के सोलर पैनल स्थापित कर प्रतिवर्ष 5 करोड राजस्व की बचत*
बिजली की बचत और पर्यावरण संरक्षण का उत्तरदायित्व आज व्यक्ति विशेष का न होकर सभी का हो गया है। ऊर्जा संरक्षण के साथ पर्यावरण को सुदृढ़ बनाने के लिये रेलवे भी लगातार सकारात्मक कदम उठा रहा हैए जिसमें परम्परागत संसाधनों के स्थान पर पर्यावरण अनुकूल स्त्रोतो का अधिकाधिक उपयोग किया जा रहा हैं। इसके साथ ही ऊर्जा दक्ष एलईडी तकनीक का प्रयोग कर पर्यावरण संरक्षण में योगदान किया जा रहा है।
 उत्तर पश्चिम रेलवे के मुख्य जनसम्पर्क अधिकारी कैप्टन शशि किरण के अनुसार श्री विजय शर्मा, महाप्रबंधक, उत्तर पश्चिम रेलवे के दिशा-निर्देशों से उत्तर पश्चिम रेलवे प्रदुषण रहित तथा पर्यावरण संरक्षण के प्रति दायित्व के प्रयासों को गति प्रदान कर पर्यावरण संरक्षण की मुहिम को बढाने के साथ.साथ राजस्व की भी बचत कर रहा है। उत्तर पश्चिम रेलवे परिक्षेत्र सौर ऊर्जा उत्पादन के लिए समृद्व है। इस रेलवे पर विगत समय में सौर ऊर्जा पर काफी कार्य किये गये है। इस रेलवे पर अभी तक कुल 7.127 MWp क्षमता के सोलर पैनल स्थापित किये गये है। इन सौलर पैनल के स्थापित होने से इस रेलवे पर प्रतिवर्ष 79 लाख से अधिक यूनिट की ऊर्जा की बचत की जा रही है तथा 5 करोड रूपये के राजस्व की बचत की जा रही है। 
 हरित ऊर्जा की पहल के अन्तर्गत जयपुर स्टेशन पर 1050 kWP क्षमता तथा अजमेर स्टेशन पर 540 kWp क्षमता तथा जोधपुर स्टेशन पर 870 kWp क्षमता तथा आबूरोड स्टेशन पर 300 kWp क्षमता के उच्च सोलर पैनल स्थापित कर ऊर्जा प्राप्त की जा रही है। उत्तर पश्चिम रेलवे के क्षेत्राधिकार में जोधपुर वर्कशॉप में 440 kWp, अजमेर कार्यशाला में 192 kWp मण्डल रेल प्रबंधक कार्यालय, जोधपुर में 200 kWp क्षेत्रीय रेलवे प्रशिक्षण संस्थान, उदयपुर में 210 kWp भगत की कोठी पर 140 kWp मारवाड़ जंक्ष्शन पर 120 kWp सहित अन्य स्टेशनां पर भी सौलर पैनल स्थापित कर विद्युत उत्पादन किया जा रहा है। इसके अतिरिक्त इस वर्ष उत्तर पश्चिम रेलवे में 8.68 मेगावॉट क्षमता के सोलर सिस्टम लगाने का कार्य आगामी वित्त वर्ष में किया जायेगा। श्री विजय शर्मा, महाप्रबंधक-उत्तर पश्चिम रेलवे के मार्गदर्शन अनुसार उत्तर पश्चिम रेलवे के विभिन्न स्थानों पर सोलर प्लांट की स्थापना के लिए 533 हेक्टेयर क्षेत्रफल के 33 खाली भूखण्डों की पहचान कर स्वीकृत किये गये है। 
 इसके साथ ही उत्तर पष्चिम रेलवे पर ऊर्जा दक्ष एलईडी तकनीक के उपयोग से राजस्व के बचत के साथ-साथ पर्यावरण संरक्षण को भी सुनिश्चित किया जा रहा है। एलईडी फिटिंग्स उत्सर्जित प्रकाश की प्रति यूनिट (लुमेन) कम बिजली की खपत कम करते हैं। यह बिजली संयत्रों से ग्रीन हाउस उत्सर्जन को कम करता है तथा एलईडी के लिये कार्बन डाईऑक्सीजन उत्सर्जन भी कम है। उत्तर पष्चिम रेलवे के सभी 570 स्टेशनों तथा 961 सर्विस बिल्डिग्स में 100 एलईडी फिटिंग लगाई गई है। उत्तर पश्चिम रेलवे पर लगभग 236452 एलईडी लाइट फिटिंग लगाई गई है, जिसके परिणामस्वरूप 103 लाख यूनिट बिजली की बचत होती है। इसके अतिरिक्त उत्तर पश्चिम रेलवे के 28 स्टेशनों पर बेहतर प्रंकाश व्यवस्था के लिये एयरपोर्ट के मानक स्तर पर प्रकाश व्यवस्था उपलब्ध करवाई गई है।
 रेलवे का प्रयास है कि पर्यावरण और ऊर्जा संरक्षण के लिये यथासंभव कार्य किये जाये और पर्यावरण अनूकुल स्त्रोतो का अधिकाधिक उपयोग किया जाये। रेलवे का सौर ऊर्जा तथा ऊर्जा दक्ष उपकरणो पर यह प्रयास निरंतर और अनवरत जारी है।


*दोहरीकरण कार्य के कारण रेल यातायात प्रभावित*
*उदयपुर-कामाख्या एक्सप्रेस होगी पूर्ववत संचालित*

पूर्वोत्तर सीमान्त रेलवे के रंगिया मण्डल पर पांचारतना-दूधणोई स्टेशनो के मध्य दोहरीकरण कार्य के कारण कारण उत्तर पश्चिम रेलवे पर संचालित गाडी संख्या 19615, उदयपुर-कामाख्या रेलसेवा, दिनांक 28.02.22 को उदयपुर से प्रस्थान करने वाली रेलसेवा को रद्द किया गया था *अब यह रेलसेवा दिनांक 28.02.22 को उदयपुर से निर्धारित समय सारणी अनुसार संचालित होगी।*




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